ग्रामीणों को ग्राम दुलियामुड़ा में हाथी आने की पूर्व दी गई थी सूचना
रायगढ़ (पब्लिक फोरम)। वन मंडलाधिकारी धरमजयगढ़ वनमंडल ने जानकारी देते हुए बताया कि वन परिक्षेत्राधिकारी धरमजयगढ़ के सूचनानुसार परिसर कोयलार में 28 अक्टूबर 2024 को रात्रि 8 बजे लगभग परिसर रक्षक कोयलार श्री प्रदीप केरकेट्टा वनपाल के द्वारा सूचना दी गई कि ग्राम दुलियामुड़ा के एक व्यक्ति को वन्यप्राणी जंगली हाथी द्वारा घायल कर मार दिया गया हैं। उक्त घटना की सूचना प्राप्त होते ही वन कर्मचारियों परिक्षेत्र अधिकारी के साथ घटना स्थल पर पहुंचकर मृतक के संबंध में जानकारी प्राप्त किये जो कि श्री बेदराम राठिया वल्द बरमसिंह उम्र 36 वर्ष साकिन दुलियामुड़ा तह. धरमजयगढ़, जिला- रायगढ़ की पहचान हुई। वह शाम 4-5 बजे अपने खेत की रखवाली हेतु खेत की ओर की अपने साथियों के साथ गया था। सभी साथी अपने-अपने खेत की ओर चले गये। स्थानीय नाम राजा जंगल में एक नर हाथी विचरण कर रहा था उसकी सूचना गांव वालों को दी गई थी। श्री बेदराम राठिया द्वारा अपने खेत की रखवाली करते समय वन्यप्राणी जंगली हाथी से आमना-सामना हो जाने पर धान के खेत में ही घायल किया गया जिससे मौके पर ही मृत्यु हो गई। साथियों द्वारा बाद में उसकी खोजबीन की गई तो श्री बेदराम राठिया धान खेत पर मृत अवस्था में पाया गया। साथियों द्वारा घटना की जानकारी परिसर रक्षक को दी गई।
घटना स्थल पर पहुंचकर मौका निरीक्षण उपरांत धान खेत पर श्री बेदराम का शव मिला एवं आस पास वन्यप्राणी जंगली हाथी के पैरों के निशान स्पष्ट रूप से पाये गये। पुलिस बल की सहयोग से मृतक के शव को सिविल अस्पताल धरमजयगढ़ लाया गया एवं 29 अक्टूबर 2024 को सुबह पोस्टमार्टम उपरांत शव को परिजनों को सौंप दिया गया। शासन के नियमानुसार मृतक के उत्तराधिकारी धर्मपत्नी श्रीमति मंजीरा बाई राठिया पति स्व. वेदराम राठिया वर्ष साकिन दुलियामुड़ा तह. धरमजयगढ़ जिला रायगढ़ को तत्कालिक सहायता राशि 25 हजार रुपये प्रदान किया गया। घटना के पूर्व मुनादी के माध्यम से ग्राम दुलियामुड़ा में हाथी आने की पूर्व सूचना दी गई थी। घटना प्रकरण में अग्रिम कार्यवाही वन परिक्षेत्राधिकारी धरमजयगढ़ द्वारा नियमानुसार की जा रही है।
धरमजयगढ़ वनमंडल का धरमजयगढ़ परिक्षेत्र हाथी प्रभावित क्षेत्र है, उक्त घटना क्षेत्रों में जंगली हाथी विचरण की हाथी ट्रेकर्स के द्वारा हाथियों की लगातार ट्रेकिंग की जा रही है जिसकी सूचना व्हाट्सअप के माध्यम से तथा हाथी मित्र दल के माध्यम से वन क्षेत्र एवं आस-पास के गांव में मुनादी कराकर तथा लाउडस्पीकर के माध्यम से एवं वन कर्मचारियों द्वारा प्रतिदिन हाथियों के विचरण की सूचना ग्रामीणों को दी जाती है तथा ग्रामीणों को हाथी प्रभावित क्षेत्रों में अन्य कार्यों हेतु नहीं जाने की समझाईश प्रतिदिन दिया जा रहा है तथा समूचे धरमजयगढ़ क्षेत्र के वन अमले को मानव हाथी द्वंद्व की रोकथाम हेतु हाई अलर्ट पर रहने हेतु निर्देशित किया गया है।
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