कोरबा (पब्लिक फोरम)। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) जिला परिषद कोरबा ने शुक्रवार शाम विद्युत बिल दरों में हुई वृद्धि के विरोध में आईटीआई चौक पर धरना-प्रदर्शन किया। पार्टी ने जिला कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर बिजली दरों में हुई बढ़ोतरी को तत्काल वापस लेने की मांग की।
शाम 4 बजे से शुरू हुए इस धरने में जिला सचिव पवन कुमार वर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार ने अपने दो साल के कार्यकाल में तीसरी बार बिजली दरों में अप्रत्याशित वृद्धि की है, जिससे मजदूर, किसान, व्यापारी और आम जनता आर्थिक रूप से बुरी तरह प्रभावित हुए हैं।
ज्ञापन में उल्लेख किया गया है कि सरकार द्वारा 400 यूनिट तक बिजली बिल आधा करने की योजना को भी बंद कर दिया गया है, जिससे आम जनता की समस्याएं और बढ़ गई हैं। पार्टी ने कहा कि कोरबा में स्थापित पावर संयंत्रों और अन्य उद्योगों से निकलने वाले धुएं और राख से भी स्थानीय लोग परेशान हैं।

जिला सचिव वर्मा ने कहा, “छत्तीसगढ़ राज्य अपनी जरूरत पूरा करने के साथ-साथ दूसरे राज्यों को भी बिजली बेचता है, इसलिए बिजली बिल में बढ़ोतरी करना न्यायोचित नहीं है।” उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि बिजली दरों में हुई वृद्धि वापस नहीं ली गई, तो पार्टी द्वारा वृहद आंदोलन किया जाएगा।
धरने में सहायक जिला सचिव अनूप सिंह, जिला परिषद सदस्य कामरेड सुनील सिंह, कामरेड विजयलक्ष्मी चौहान, कामरेड नरेंद्र मिश्रा, कामरेड वकील राम, कामरेड एम.डी. सोएब, कामरेड रामू केवट, कामरेड घनश्याम पटेल, कामरेड मैनेजर यादव, कामरेड दीनदयाल सिंह, कामरेड श्रीबाई, कामरेड रामवती बाई सहित कई कार्यकर्ता उपस्थित थे।
भाकपा ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि आम जनता को राहत देने के लिए बिजली दरों में हुई वृद्धि को तत्काल वापस लिया जाए।
(प्रेस विज्ञप्ति पर आधारित।)
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