वाशिंगटन। ट्रंप प्रशासन में सरकारी दक्षता विभाग के प्रमुख और टेस्ला के सीईओ एलन मस्क ने अमेरिकी सरकार की तमाम संघीय एजेंसियों को “खरपतवार” बताते हुए उन्हें खत्म करने की मांग की है। उनका यह बयान ऐसे समय आया है, जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप सरकारी खर्चों में भारी कटौती और प्राथमिकताओं को बदलने के अभियान को तेज कर रहे हैं। मस्क के नेतृत्व में हजारों कर्मचारियों की नौकरियां खत्म होने का खतरा मंडरा रहा है, जबकि अमेरिकी मानवीय सहायता एजेंसी (यूएसएड) को भी बंद करने की तैयारी चल रही है।
क्यों चर्चा में है मस्क का बयान?
गुरुवार को दुबई में आयोजित वैश्विक सरकारी शिखर सम्मेलन को वीडियो कॉल से संबोधित करते हुए मस्क ने कहा, “सरकारी एजेंसियां खरपतवार की तरह हैं। इन्हें जड़ से उखाड़ना होगा, नहीं तो ये दोबारा उग आएंगी।” उन्होंने स्पष्ट किया कि ट्रंप प्रशासन का लक्ष्य “सरकार में क्रांतिकारी बदलाव” लाना है, जिसके लिए अप्रभावी एजेंसियों को बंद करना जरूरी है।
– विवादास्पद फैसले का बचाव: मस्क को हाल ही में एक अनिर्वाचित अधिकारी के रूप में अपनी भूमिका का बचाव करना पड़ा। ट्रंप ने उन्हें सरकारी ढांचे को ढहाने के लिए “अभूतपूर्व अधिकार” दिए हैं।
– कर्मचारियों पर संकट : बोस्टन के एक संघीय जज ने ट्रंप की उस योजना को हरी झंडी दे दी है, जिसके तहत 75,000 सरकारी कर्मचारियों को “स्वैच्छिक इस्तीफा” देने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।
क्या है मानवीय कीमत?
सरकारी कर्मचारियों के संघों ने इस योजना को “करियर का अंत” बताया है, लेकिन जज जार्ज ओटूल जूनियर ने कहा कि उनके पास इसे चुनौती देने का “कानूनी आधार नहीं” है। अमेरिकी कार्मिक प्रबंधन कार्यालय के अनुसार, लगभग 75,000 कर्मचारियों ने इस्तीफे का प्रस्ताव स्वीकार कर लिया है।
– यूएसएड का भविष्य अंधकारमय: मस्क के अभियान के तहत अमेरिकी विदेशी सहायता पर रोक लगाई जा चुकी है। यूएसएड, जो दुनिया भर में मानवीय संकटों में मदद करती है, उसे भी बंद करने की तैयारी है। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे वैश्विक स्वास्थ्य, शिक्षा और आपदा राहत पर गंभीर असर पड़ेगा।
मस्क का OpenAI प्रस्ताव: शर्तों के साथ वापसी
इस बीच, एलन मस्क ने चैटजीपीटी निर्माता कंपनी ओपनएआई को खरीदने के अपने प्रस्ताव को वापस लेने की घोषणा की है, लेकिन एक शर्त के साथ। उन्होंने कहा, “अगर ओपनएआई लाभ के बजाय मानवता की भलाई के लिए काम करे, तो मैं अपना ऑफर वापस ले सकता हूं।”
– 97.4 अरब डॉलर का ऑफर ठुकराया: मस्क के नेतृत्व वाले कंसोर्टियम ने इसी सप्ताह ओपनएआई को 97.4 अरब डॉलर में खरीदने का प्रस्ताव दिया था, लेकिन कंपनी के सीईओ सैम आल्टमैन ने इसे अस्वीकार कर दिया।
कितना टिकाऊ है ट्रंप-मस्क की रणनीति?
सरकारी एजेंसियों को खत्म करने की यह मुहिम अमेरिका में तीखे विवादों को जन्म दे रही है। आलोचकों का मानना है कि यह कदम देश की सामाजिक सुरक्षा और वैश्विक प्रभाव को कमजोर करेगा। वहीं, ट्रंप समर्थक इसे “सरकारी फिजूलखर्ची रोकने का ऐतिहासिक कदम” बता रहे हैं।
– मस्क की भूमिका पर सवाल: एक निजी कंपनी के प्रमुख का सरकारी ढांचे को ढहाने की जिम्मेदारी संभालना भी चर्चा का विषय है। कांग्रेस के कुछ सदस्यों ने इसे “लोकतंत्र के लिए खतरा” बताया है।
एलन मस्क का यह अभियान न सिर्फ अमेरिका, बल्कि पूरी दुनिया के लिए चिंता का विषय बना हुआ है। सवाल यह है कि क्या सरकारी व्यवस्था में “खरपतवार हटाने” के नाम पर की जा रही कटौती वास्तव में जनता के हित में है, या यह एक ऐसा प्रयोग है जिसकी कीमत आम लोगों को चुकानी पड़ेगी?
क्या अमेरिकी सरकार की एजेंसियों का अस्तित्व खतरे में? एलन मस्क का बड़ा बयान! जानें क्यों कहा- ‘सरकारी एजेंसियां खरपतवार की तरह’
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