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मंगलवार, जून 17, 2025
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स्कूल युक्तिकरण के विरोध में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी का प्रदर्शन: 10,443 स्कूलों के बंद होने से बढ़ेगी बेरोजगारी

कोरबा (पब्लिक फोरम)। छत्तीसगढ़ सरकार की स्कूल युक्तिकरण नीति के विरोध में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई) जिला परिषद कोरबा ने सोमवार को राज्यपाल, मुख्यमंत्री और स्कूल शिक्षा मंत्री के नाम एक विस्तृत ज्ञापन जिला कलेक्टर को सौंपा है।

मुख्य समस्याएं और आपत्तियां
– स्कूलों का व्यापक युक्तिकरण
राज्य सरकार द्वारा “10,443 स्कूलों के युक्तिकरण” का निर्णय लिया गया है, जिसके तहत कम छात्र संख्या वाले स्कूलों को अन्य संस्थानों में विलय किया जा रहा है। इस नीति से ग्रामीण, सुदूरवर्ती और आदिवासी क्षेत्रों में स्कूलों के बंद होने की स्थिति निर्मित हो रही है।

– शिक्षकों पर बढ़ता कार्यभार
युक्तिकरण के अंतर्गत “5,370 शिक्षकों को अतिरिक्त घोषित” कर अन्य स्कूलों में स्थानांतरित किया जा रहा है। साथ ही प्राथमिक विद्यालयों में 2008 के स्थापित ढांचे (1 प्रधान शिक्षक + 2 सहायक शिक्षक) को संशोधित कर एक पद कम किया जा रहा है।

– शिक्षक भर्ती में कटौती
वर्तमान में राज्य में लगभग “15,000 शिक्षकों की कमी” है, परंतु इस नीति के कारण भर्ती की आवश्यकता को घटाकर मात्र 5,000 कर दिया गया है। इससे बेरोजगार शिक्षित युवाओं के साथ अन्याय हो रहा है।

– शिक्षा अधिकार का हनन
कम्युनिस्ट पार्टी का आरोप है कि यह नीति “शिक्षा अधिकार अधिनियम 2009” और “राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020” के मूलभूत उद्देश्यों के विपरीत है। ग्रामीण क्षेत्रों में स्कूलों की कमी से विशेषकर आदिवासी और पिछड़े समुदाय के बच्चों में ड्रॉपआउट दर बढ़ने की आशंका व्यक्त की गई है।

पार्टी की प्रमुख मांगें
1. तत्काल नीति रद्दीकरण: युक्तिकरण की वर्तमान नीति को रद्द कर 2008 के मूल ढांचे को बहाल किया जाए।
2. पारदर्शी समायोजन: एकल शिक्षक और शिक्षक विहीन स्कूलों की समस्या हल करने हेतु अतिरिक्त शिक्षकों का तर्कसंगत समायोजन।
3. तत्काल भर्ती प्रक्रिया: रिक्त 15,000 शिक्षक पदों की भर्ती प्रक्रिया प्रारंभ की जाए।
4. ग्रामीण क्षेत्र में स्कूल संरक्षण: आदिवासी और ग्रामीण क्षेत्रों में स्कूल बंद करने के बजाय शिक्षकों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए।
5. सामुदायिक सहमति: युक्तिकरण नीति पर शिक्षक संगठनों और जनप्रतिनिधियों के साथ व्यापक चर्चा।
6. निजी स्कूल नियंत्रण: ग्राम पंचायत और शाला प्रबंधन समिति की अनुमति के बिना निजी स्कूल संचालन पर रोक।
7. सरकारी स्कूलों में विश्वास निर्माण: जनप्रतिनिधियों और प्रशासनिक अधिकारियों के बच्चों की सरकारी स्कूलों में अनिवार्य भर्ती
8. आवासीय सुविधा: शिक्षकों और कर्मचारियों के लिए स्कूल परिसर में आवास व्यवस्था

आंदोलन की चेतावनी
पार्टी ने स्पष्ट रूप से चेतावनी दी है कि यदि उनकी मांगों पर उचित कार्रवाई नहीं की गई तो वे व्यापक प्रदर्शन और आंदोलन का सहारा लेने को मजबूर होंगे, जिसकी संपूर्ण जिम्मेदारी राज्य सरकार की होगी।

ज्ञापन सौंपने के अवसर पर जिला सचिव पवन कुमार वर्मा, सह-सचिव धर्मा राव, सह-सचिव अनूप सिंह, कोषाध्यक्ष धर्मेंद्र तिवारी और अन्य पार्टी कार्यकर्ता उपस्थित रहे।

छत्तीसगढ़ में शिक्षा क्षेत्र के युक्तिकरण की यह नीति न केवल शिक्षकों के रोजगार को प्रभावित कर रही है, बल्कि ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में शिक्षा की पहुंच को भी सीमित कर सकती है। इस मुद्दे पर व्यापक चर्चा और संतुलित समाधान की आवश्यकता है।

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