रायगढ़ (पब्लिक फोरम)। छत्तीसगढ़ स्वास्थ्य विभाग ने डेंगू के खिलाफ एक व्यापक जन-जागरूकता अभियान शुरू किया है। इस पहल के तहत, विभाग ने नागरिकों को डेंगू के कारण, लक्षण, रोकथाम और उपचार के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की है।
कलेक्टर कार्तिकेया गोयल के मार्गदर्शन में, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी.के. चंद्रवंशी ने एक विस्तृत एडवाइजरी जारी की है। उन्होंने जोर देकर कहा, “डेंगू से डरने की आवश्यकता नहीं है। सतर्कता और जागरूकता के साथ, हम इस बीमारी से बच सकते हैं।”
डेंगू के बारे में जानें!
• यह एडीज मच्छर के काटने से फैलता है, जो दिन में सक्रिय रहता है।
• लक्षण आमतौर पर संक्रमण के 5-6 दिन बाद दिखाई देते हैं।
• प्रारंभिक जांच में पॉजिटिव आने वाले मरीजों को तुरंत ‘डेंगू पीड़ित’ नहीं माना जाता। अंतिम पुष्टि मेडिकल कॉलेज रायगढ़ में ELISA टेस्ट से की जाती है।
लक्षण और क्या करें?
• तेज बुखार, सिरदर्द, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द।
• आंखों के पीछे दर्द, मतली और उल्टी।
• गंभीर मामलों में रक्तस्राव और त्वचा पर चकत्ते।
यदि इनमें से कोई भी लक्षण दिखें, तो तुरंत निकटतम स्वास्थ्य केंद्र, मितानिन या स्वास्थ्य कार्यकर्ता से संपर्क करें।
रोकथाम के उपाय
1. घर के आसपास जल जमाव न होने दें।
2. पानी के सभी पात्रों को ढककर रखें।
3. कूलर और कंटेनरों को साप्ताहिक रूप से साफ करें।
4. मच्छरदानी और मच्छर निरोधक का उपयोग करें।
5. पूरी बाजू के कपड़े पहनें।
क्या न करें!
• टूटे बर्तन या कबाड़ बाहर न रखें।
• खाली कूलरों में पानी न छोड़ें।
• टायर या नारियल के खोल खुले में न फेंकें।
• डेंगू के मरीजों को एस्पिरिन या ब्रूफेन न दें।
डॉ. चंद्रवंशी ने आगे कहा, “हमारा लक्ष्य है कि हर नागरिक डेंगू के खिलाफ इस लड़ाई में सक्रिय भागीदार बने। सामूहिक प्रयासों से ही हम इस बीमारी पर विजय पा सकते हैं।”
अधिक जानकारी के लिए टोल-फ्री नंबर 104 पर कॉल करें या डेंगू कंट्रोल रूम, जिला चिकित्सालय रायगढ़ से संपर्क करें।
यह जन-जागरूकता अभियान जिले के नागरिकों को न केवल डेंगू से बचाव में मदद करेगा, बल्कि समुदाय में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता भी बढ़ाएगा। स्वास्थ्य विभाग की यह पहल सराहनीय है और निश्चित रूप से डेंगू के खिलाफ लड़ाई में एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगी।
डेंगू से लड़ाई: स्वास्थ्य विभाग की जन-जागरूकता मुहिम
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