कोरबा (पब्लिक फोरम)। कोरबा जिले के रिसदी रोड गोदाम से शासकीय खाद्यान्न लोड कर शिवाजी नगर में संचालित पी.डी.एस.दुकान क्रमांक 1013, में अनलोड करने के लिए स्वराज माजदा वाहन क्रमांक CG.12.AX.3224 में 32 क्विंटल 05 किलो चावल लेकर शिवाजी नगर पी डी एस दुकान में खाली ना करके सीधा डी डी एम रोड में ड्राइवर गाड़ी लेकर पहुंच गया और बहुत देर तक गाड़ी को रोड के किनारे खड़ी कर टाइम पास करते रहा।
कुछ लोग उक्त गाड़ी के निगरानी में पहले से ही लगे हुए थे शायद वही लोग शासकीय खाद्यान्न की अफरा-तफरी होने की शंका व्यक्त करते हुए क्राइम ब्रांच कोरबा को फोन करके जानकारी दिए जिसके बाद क्राइम ब्रांच कोरबा की टीम जब वाहन CG 12 AX 3224 डीडीएम रोड से वापिस बुधवारी बाजार तरफ जा रही थी तो ट्रांसपोर्ट नगर में रोककर वाहन के ड्राइवर से पूछताछ करने लगे तो ड्राइवर के द्वारा जब कोई उचित और ठोस जवाब नहीं मिला तो क्राइम ब्रांच के सिपाहियों ने गाड़ी को थाना कोतवाली में लाकर रात्रि करीब 9:30 बजे खड़ी करवा दी और जांच उपरांत कार्यवाही करने की बात कही।
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इस परिपेक्ष में अनुबंधित ट्रांसपोर्टर शैलेंद्र शर्मा से फोन पर न्यूज़ टीवी की टीम ने बात की तो ट्रांसपोर्टर ने गोलमोल जवाब देता रहा। जिस तरह का जवाब ट्रांसपोर्टर के द्वारा दिया गया उससे यह प्रतीत होता है कि कहीं ना कहीं उक्त गाड़ी में लोड शासकीय खाद्यान्न की अफरा-तफरी होना सुनिश्चित था। ऐसा नहीं है कि शासकीय खाद्यान्न की अफरा-तफरी कोरबा जिला में पहली बार सामने आई है। इसके पूर्व के नान अनुबंधित ट्रांसपोर्टर के द्वारा शासकीय खाद्यान्न की अफरा तफरी की गई थी और ट्रांसपोर्ट के ऊपर एफ आई आर भी दर्ज हुआ था और ट्रांसपोर्टर को ब्लैक लिस्ट भी कर दिया गया है।
देर रात ट्रांसपोर्टर के कुछ लोग मामले को रफा-दफा करने के फिराक में थाना कोतवाली में चहल कदमी करते हुए भी दिखे उक्त पूरी कार्यवाही के दौरान भारतीय खाद्य निगम के सलाहकार समिति (छ.ग.) के पूर्व सदस्य राजकुमार दुबे भी मौजूद रहे और उन्होंने कहा पूरे जिले में पीडीएस चावल की अफरा-तफरी कुछ लोग सिंडिकेट बनाकर विगत कई सालों से बेखौफ होकर कर रहे हैं।
श्री दुबे का कहना था कि कई बार मेरे द्वारा मय प्रमाण कलेक्टर कोरबा एवं पुलिस अधीक्षक कोरबा आदि से इसके संबंध में पत्राचार किया गया है। कई बार कार्रवाई भी हुई है लेकिन वह भी एक औपचारिकता मात्र की गई थी। जिसके कारण ही भ्रष्टाचारियों के हौसले बुलंद होते चले जा रहे हैं। राजकुमार दुबे ने कहा कि नान में अनुबंधित वाहन के शीशे के सामने पीडीएस मे कार्यरत स्टीकर लगा रहता है जिससे यह प्रमाणित होता है कि उक्त वाहन शासकीय खाद्यान्न की डिलीवरी करता है लेकिन इस वाहन में स्टीकर ना लगे होने से कहीं ना कहीं शासकीय खाद्यान्नों की अफरा-तफरी की ओर इशारा करता है।
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